Saturday, June 10, 2017

What Is SAR ?? Can Mobiles Cause Cancer - Complete Explained - In Hindi


हम सब मोबाइल यूजर्स ने एक बात जो बहुत सुनी है, जिसे हम कहते हैं SAR Value!! चाहे हमने किसी डिब्बे पर देख लिया हो, चाहे हमने कहीं रिव्यु में सुन लिया हो या कहीं अखबार में हमने उसके बारे में पढ़ लिया हो, आज हम जानेंगे SAR Value होती क्या है इससे क्या क्या नुकसान है। और इसको अपने फोन मे कितना है!! कैसे पता करे?? तो चलिए शुरू करते हैं

SAR Value क्या होती है??
SAR का पूरा नाम Specific Absorption Rate!! यानी कि वह Rate जो आपका शरीर इस रेडिएशन को अपने अंदर ले लेती है। यह शरीर में दो हिस्सों में अलग-अलग मापी जाती है पहला है। आपका सर!! क्योंकि जब हम कॉल पर बात करते हैं, तब फोन के पास में हमारा सर होता है हमारा दिमाग होता है इससे सर मे रेडिएशन जाने का खतरा होता है।

दूसरा बॉडी के अन्दर होता है, बॉडी का इसलिए बोलते है क्योकि जब हमारे फोन को पॉकेट में रखते हैं तो हमारे शरीर इतना लंबा चौड़ा होता है जिससे कि वह एक पार्ट में नहीं बल्कि पूरे बॉडी मैं रेडिएशन चलाता है।

यह SAR रेडिएशन अपना काम कैसे करती है??
दोस्तों हर मोबाइल फोन में एक एंटीना होता है जो दो काम करता है पहला सिग्नल को मोबाइल टावर तक भेजने का और दुसरा सिग्नल को मोबाइल टावर से मोबाइल तक लेने का काम करता है। इससे हम वाईफाई के दौरान भी होता है। यह ब्लूटूथ के दौरान भी काम करता है। और जो इन सभी चीजों में एंटीना काम करता है, वह काम करता है, इलेक्ट्रॉनिक माइक्रो वेब्स जो तिरंगे होती है, उनको भेजने से और उन तरंगों को कैच करने से उन तरंगों में जो पावर होती है वह आस-पास के वातावरण में फैलती है जब उनको भेज रहे होते हैं या जब उनको ले रहे थे तब इनमें कुछ परफेक्ट नहीं होता है।

मान लीजिए कि 100 पावर भेजी है उसमें से 80 पहुंच जाएगी। लेकिन 20 जो है वह आसपास के जरुरत में के हिसाब से उस वातावरण मे मिल जाती है। जो सिग्नल होता है वह पूरा रिसीव नहीं करता। और जब हमारा फोन फुल काम कर रहा होता है। तो उस टाइम रेडिएशन की पावर बहुत ज्यादा होती है। मतलब कि अगर हम हल्का-फुल्का काम करें या स्टैंडबाई पर रख लिया हो फोन तो उसके अंदर रेडिएशन बहुत कम होती है। लेकिन हमने गेम खेल रहे हो या इंटरनेट को यूज कर लिया है। इससे हमारे फोन में रेडिएशन ज्यादा होता है।

SAR Value की लिमिट इंडिया में और ऑस्ट्रेलिया में एक है इंडिया की SAR Value 1 ग्राम टिशू का कवर एवरेज लेकर होती है 1.6Wpkg यानी कि जो आपका डिवाइस है वह 1.6 वाट पर KG के पावर होती है और उससे कम होगी तो यह बहुत अच्छी बात है और सभी देशो में USA मे 10 ग्राम टिशू को ध्यान में रखते हुए 2 वाट पर KG है। इन दोनों को हम कभी कंपेर नहीं कर सकते लेकिन अगर आपने नया फोन खरीदा है तो आपको कोई डरने की बात नहीं है क्योंकि वह फोन मार्केट में तभी आया जब उसकी  SAR Value कम है अगर कम नहीं होती तो वह मार्केट में नहीं आता है।

 SAR Value से बचने के लिए क्या ध्यान रखे??
आप फोन पर दिन में 10 - 15 मिनट या 1-2 घंटा फोन पर बात करते हैं। तो आप SAR Value के बारे में बिल्कुल निश्चिंत रहिए। आप सोचना भी मत बारे में कि आपके शरीर में कुछ  SAR Value का इफ़ेक्ट होगा। और कोशिश कीजिए कि जो आप फोन लेते हैं उसकी SAR Value कम हो तो यह बहुत अच्छी बात है और अगर नहीं है तो उससे कुछ फर्क नहीं पड़ेगा।


और अगर आप बहुत ज्यादा बात करते हैं फोन से और अगर साथ में फोन का डाटा भी 3G 4G पर है और साथ में आप कॉल पर बात कर रहे हैं तो आपको एक बात का खास ध्यान रखना चाहिए कि अगर आप हेडफोन का यूज कर सको तो यह बहुत अच्छा होता है और इसके फायदे यह हो जाएंगे कि आप का फोन है वह आपके सर के पास नहीं होगा इससे हम कैंसर जैसे बड़े रोग से आपका शरीर निरोग रहेगा अगर एडिशन ज्यादा होगा तो आप को कैंसर जैसे बड़ी रोग का सामना करना पड़ सकता है हेडफोन यूज़ करने से वह टेंशन 0 के बराबर हो जाएगी।

USA, इंडिया, ऑस्ट्रेलिया, न्यूयॉर्क की सरकार ने सब देशो में अलग-अलग SAR Value की लिमिट तय की गई है। उनका कहना है कि अगर इससे ऊपर फोन की SAR Value हुए तो आप इस फोन को मार्केट में नहीं बेच सकते हैं।

अपने फोन मे कितनी  रेडिएशन है! केेसे पता करे??
 SAR Value Check करने के लिए इस फोटो मे जो USSD CODE है, उसको अपने फोन मे Dial किजिए। 
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 मेरे फोन का Screen Shot है। आप देख सकते है।


आज के  लिए इतना ही उम्मीद करता हु आपको  SAR Value के बारे में पढ़ कर अच्छा लगा हो तो आप अपने दोस्तों के साथ Social Media  पर Share करना ना भुले और अगर आपको Internet, Computer, Technology  के बारे में पुछनी है तो आप हमेसे पुछ सकते है। पोस्ट पढ कर Comment मे जरुर बताये आपको पोस्ट कैसी लगी।

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